बेगूसराय.
बेगूसराय के बरौनी जंक्शन पर रविवार को एक बड़ा रेल हादसा हो गया, जिसमें ट्रेन सेटिंग करते समय रेल कर्मी अमर कुमार की इंजन और बोगी के बीच दबकर मौत हो गई। हादसे के बाद स्टेशन पर हड़कंप मच गया और करीब दो घंटे तक मृतक का शव बोगी में फंसा रहा। बड़ी मशक्कत के बाद शव को बोगी से निकाला गया, लेकिन इस घटना से मृतक के परिजनों में गहरा शोक छा गया है।
जानकारी के अनुसार, 15204 डाउन बरौनी-लखनऊ एक्सप्रेस जब बरौनी जंक्शन पर पहुंची तो सेटिंग स्टाफ ने पहले इंजन को ट्रेन से अलग किया। फिर ईंधन भरवाने के लिए भेजा गया। वापस आने पर जब इंजन ट्रेन की बोगियों से जोड़ने के लिए लाया गया। तब ट्रेन की कपलिंग (जो इंजन को बोगी से जोड़ती है) को सेट करने के दौरान अमर कुमार इस प्रक्रिया में संलग्न थे। अचानक इंजन पीछे की ओर बढ़ गया और कपलिंग जोड़ने के प्रयास में अमर कुमार इंजन और बोगी के बीच दब गए, जिससे उनकी मौके पर ही मौत हो गई।
लापरवाही और स्टाफ की कमी पर कर्मचारियों ने जताई आपत्ति
इस हादसे के बाद रेल कर्मचारियों ने नाराजगी जताई और रेलवे प्रशासन पर लापरवाही का आरोप लगाया। कर्मचारियों का कहना है कि ट्रेन सेटिंग में चार लोगों की आवश्यकता होती है, लेकिन मौके पर केवल एक ही कर्मचारी अमर कुमार को यह जिम्मेदारी दी गई थी। इसी लापरवाही के चलते यह हादसा हुआ। कर्मचारियों का कहना है कि इस प्रकार के हादसों से बचने के लिए रेल प्रशासन को स्टाफ की कमी पूरी करनी चाहिए और सुरक्षा के पर्याप्त इंतजाम करने चाहिए।
परिवार में मचा कोहराम, मुआवजे की मांग
अमर कुमार की मौत की खबर सुनते ही उनके परिजनों में कोहराम मच गया। उनके परिवार के लोग प्लेटफॉर्म पर आकर रोने-बिलखने लगे। अमर को अनुकंपा पर नौकरी मिली थी, क्योंकि उनके पिता भी रेलवे में कार्यरत थे। उनकी मृत्यु के बाद अमर को यह नौकरी मिली थी। रेलवे कर्मचारियों ने मृतक के परिवार को उचित मुआवजे और एक स्थायी नौकरी देने की मांग की है।
रेल अधिकारियों ने किया घटनास्थल पर दौरा
हादसे के बाद सोनपुर मंडल के डीआरएम विवेक भूषण सूद घटनास्थल पर पहुंचे और पूरी स्थिति का जायजा लिया। उन्होंने कहा कि हादसे की पूरी जांच की जाएगी और अगर यह घटना स्टाफ की कमी की वजह से हुई है तो आगे ऐसी घटनाएं न हों, इसके लिए आवश्यक कदम उठाए जाएंगे। रेलवे प्रशासन की ओर से अमर कुमार के परिवार को हर संभव सहायता का आश्वासन दिया गया है।
लापरवाही के कारण हुआ हादसा
प्रत्यक्षदर्शियों का कहना है कि कपलिंग जोड़ने के दौरान इंजन को आगे बढ़ाने के बजाय ड्राइवर ने गलती से इंजन को पीछे कर दिया, जिससे यह घटना घटी। रेल ड्राइवर को जब इस हादसे का पता चला तो वह इंजन को वैसे ही छोड़कर भाग निकला, जिससे लोगों में आक्रोश बढ़ गया। हादसे की जानकारी मिलते ही जीआरपी और आरपीएफ की टीमें मौके पर पहुंच गईं और मामले की जांच शुरू की।
मजदूर संगठन ने किया विरोध
रेलवे कर्मचारियों और स्थानीय मजदूर संगठनों ने इस घटना के बाद रेलवे प्रशासन के खिलाफ प्रदर्शन किया। उन्होंने उचित मुआवजे की मांग के साथ भविष्य में ऐसी घटनाओं से बचने के लिए सुरक्षात्मक उपायों की मांग की।