मध्यप्रदेश

भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (भाकपा) के गौरवशाली 100 वर्ष

अनूपपुर
भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के गौरवशाली 100 वर्ष (शताब्दी वर्ष) पूर्ण होंगे। साल भर चलने वाले समस्त राष्ट्रव्यापी शताब्दी वर्ष उत्सव कार्यक्रमों की श्रृंखला में पार्टी की अनूपपुर इकाई ने का  असीम मुखर्जी निवास पर एक कार्यक्रम आयोजित किया।

कार्यक्रम में वरिष्ठ नेता कामरेड गोविंद सिंह राठौड़  ने संबोधित करते हुए कहा कि, देश में भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी की स्थापना की हलचल 1920 के पूर्व से ही शुरू हो गई थी। एक संविधान युक्त बृहद 500 सदस्यता के साथ पूर्ण कम्युनिस्ट पार्टी की स्थापना तीन दिवसीय सम्मेलन के पश्चात कानपुर में की गई।
मुख्य वक्ता वरिष्ठ कम्युनिस्ट नेता किसानों और मजदूर आंदोलन के अग्रणी साथी कामरेड जनक राठौर ने जानकारी देते हुए बतलाया कि पार्टी के संघर्षपूर्ण गौरवशाली 100 वर्षों का इतिहास देश के मजदूरों, किसानों, छात्रों, और नौजवानों के संघर्षों, आजादी पसंद आवाम के पहलकदमियों और बलिदानों से भरा हुआ है। आजादी पूर्व 1925 में पार्टी की स्थापना सामंतवाद, पूंजीवाद और साम्राज्यवाद विरोध से उद्वेलित विचारों ने अपनी अहम भूमिका निभाई और कम्युनिस्टों ने भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन में अपना मुख्य योगदान देते हुए भारत के लिए पूर्ण स्वतंत्रता की मांग उठाई, और देश के स्वाधीनता आंदोलन को मजबूत किया। पार्टी के प्रभाव ने भगतसिंह और पार्टी के कार्यकर्ताओं ने ब्रिटिश साम्राज्यवाद को उखाड़ फेंकने का आव्हान करते हुए अपनी शहादतें दीं। यही नहीं देश के हर वर्ग के लोगों के बीच उनके जुझारू संगठन जैसे ट्रेड यूनियन, किसान संगठन, लेखक और विद्यार्थी संगठन के अलावा सांस्कृतिक संगठन भी स्वतंत्रता आंदोलन की तीव्रता के लिए स्थापित कराए।

भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी देश की ऐसी पहली राजनैतिक पार्टी थी जिसने किसी भी सांप्रदायिक सोच और संगठन को सदस्यता देने से इनकार कर दिया था।

जैसा कि ज्ञात हो पार्टी की स्थापना यूपी के कानपुर शहर में हुई थी। आज से 100 साल पहले आजादी के आंदोलन में शामिल क्रांतिकारी, कम्युनिस्ट, मजदूर, किसान, आंदोलन के समूह जिनमें कुछ जेल में थे, कुछ जेल से बाहर के प्रयासों का फलस्वरूप, 26 दिसम्बर 1925 को, भारत में कम्युनिस्ट आंदोलन का प्रतिनिधित्व करने वाली, पहली राजनैतिक पार्टी, भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी का गठन किया गया था।

सत्यभक्त, मौलाना हसरत मोहानी, सिंगार वेल्लु चेट्टियार, सदाशिव विष्णु घाटे सहित देशभर के अनेक क्रांतिकारी कम्युनिस्टों ने, देश में से अंग्रेजी राज खत्म करने एवं भारत मे समाजवादी समाज रचना के संकल्प का इजहार किया था। इस अवसर पर वरिष्ठ क्रांतिकारी नेता कॉमरेड गोविंद सिंह  का बैच लगाकर और साल भेंट करके कामरेड असीम मुखर्जी द्वारा सम्मान किया गया। कार्यक्रम को कामरेड हीरालाल राठौर कामरेड समर शाह सिंह  कामरेड संजय सिंह राठौड़ सुरेश राठौड़ लालमणि राठौर ने संबोधित किया ।कार्यक्रम  में  गंगा सिंह, आशा कॉल, लाल दास राठौर, भागवत राठौर, मेघा मुखर्जी, वीरेंद्र यादव, बृज कुमार यादव , पूरनलाल भैना उपस्थित थे,कार्यक्रम  का आभार वक्तव्य पार्टी के विधानसभा सचिव मोहन राठौर ने दिया।

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